गोरखपुर-थावे डीएमयू सवारी गाड़ी सोमवार की सुबह करीब 9:15 बजे जलालपुर व सिपाया रेलवे हॉल्ट के बीच मानवरहित रेलवे फाटक को पार करने के दौरान एक पिकअप वैन से टकरा गई। जिससे पिकअप वैन के चालक व उसकी पत्नी गंभीर रूप से घायल हो गए। स्थानीय ग्रामीणों ने घायल दंपती को इलाज के लिए स्थानीय पीएचसी में भर्ती कराया। यहां चिकित्सकों ने दोनों की गंभीर स्थिति को देखते हुए प्राथमिक उपचार करने के बाद बेहतर इलाज के लिए सदर अस्पताल में रेफर कर दिया। सदर अस्पताल में इलाज के दौरान पत्नी की मौत हो गई, जबकि पति का इलाज चल रहा है। उसकी भी स्थिति गंभीर बनी हुई है। घटना की सूचना पर मौके पर पहुंची स्थानीय थाने व रेल पुलिस ने मामले का जायजा लिया। घटना के संबंध में बताया जाता है कि कुशीनगर जिले के कठकुइया थाने के समरिया गांव के मारकण्डेय अपनी पत्नी के साथ कपड़े की गांठ लादे पिकअप वैन से यूपी से बिहार की ओर आ रहा था। वैन को माकण्डेय चला रहा था व उसकी पत्नी उसपर बैठी थी। पिकअप वैन जलालपुर व सिपाया रेलवे फाटक यानी करमैनी ढाला पार करने लगा। इस दौरान गोरखपुर-थावे डीएमयू सवारी गाड़ी ने वैन को जोरदार धक्के से पटरी के बाहर फेंक दिया। टक्कर इतना जोरदार था कि वैन के परखचे उड़ गए। वहीं पिकअप में सवार चालक व उसकी पत्नी गंभीर रूप से घायल हो गए।
रेल की पटरी पार करने से मना किया था फाटक मित्र ने
गोरखपुर-थावे डीएमयू के आने की सूचना पर करमैनी ढाला के पास मौजूद फाटक मित्र ने पिकअप चालक को पटरी पार करने से मना किया था। लेकिन पिकअप चालक ने उसकी बात नहीं सुनी व गाड़ी लेकर आगे बढ़ गया। इस दौरान ट्रेन से पिकअप वैन की टक्कर हो गई। टक्कर होने के बाद पति-पत्नी गंभीर रूप से जख्मी हो गए।
मान ली होती बात तो नहीं होती टक्कर
रेलवे फाटक पर मौजूद फाटक मित्र ने बताया कि ट्रेन को आती देख वैन चालक को ढाला पार करने से रोका गया था, लेकिन इसके बावजूद वह नहीं माना। जिससे यह हादसा हुआ है। स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि घने कोहरे से विजिबिलिटी काफी कम रहने से यह हादसा हुआ है। यहां पहले भी इस तरह की कई घटनाएं घटित हो चुकी हैं। बावजूद इसके रेलवे प्रशासन ने रेलगाड़ियों के आने-जाने के दौरान फाटक बंद करने व गेटमैन की व्यवस्था नहीं कराई है।
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