उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में जहरीली शराब कांड का बिहार कनेक्शन सामने आया है। इसमें यूपी एसटीएफ की टीम ने राजस्थान के भिलवाड़ा में छापेमारी कर बिहार के शराब माफिया राजद नेता हरेंद्र यादव को गिरफ्तार किया है। शराब माफिया हरेंद्र यादव विश्वंभरपुर थाने के भोजछापर गांव के रहनेवाले पहलवान हुमेल यादव का बेटा है। वह 1999 से राजद से जुड़ा हुआ है। इसकी पत्नी बाचो देवी सलेहपुर पंचायत से बीडीसी सदस्य है। ये लोग यूपी के गाजीपुर के मूल निवासी हैं।
बता दें कि उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में जहरीली शराब पीने से करीब 88 लोगों की मौत हो गई थी। इनमें से रुड़की में 31 लोगों की मौत हो गई। वहीं, सहारनपुर में 46 और कुशीनगर में 11 लोगों की मौत हो गई थी। इस मामले में यूपी-उत्तराखंड में करीब 33 एफआइआर दर्ज किए जा चुके हैं। कुशीनगर शराब मामले में 11 लोगों की मौत का आरोपी आरजेडी नेता बताया जा रहा है। इससे बिहार में सियासत भी गरम हो गई है। बिहार के उपमुख्यमंत्री ने आरजेडी पर निशाना साधते हुए कहा कि आरजेडी के बड़े नेता शराब तस्करी में लगे हुए हैं। शराब की तस्करी में संलिप्त होने के कारण ही आरजेडी के नेता शराबबंदी का विरोध कर रहे हैं।
गिरफ्तारी के बाद भूमिगत हो गया है परिवार
विशम्भरपुर थाना क्षेत्र के रमजीता मिटहिनिया गांव निवासी हरेंद्र यादव स्प्रिट के कारोबार से काफी पहले से जुड़ा हुआ है। हालांकि सूबे में शराबबंदी लागू होने के बाद इसने उत्तर प्रदेश के सीमावर्ती जिले कुशीनगर को अपना ठिकाना बना लिया था। कुशीनगर में हुए जहरीली शराब कांड मामले में राजस्थान के भिलवाड़ा से हरेंद्र यादव की गिरफ्तारी के बाद अब जिला पुलिस उसकी कुंडली खंगाल रही है। इस स्प्रिट माफिया पर विशम्भरपुर तथा कुचायकोट थाना सहित अन्य थाना में आर्म्स एक्ट से लेकर उत्पाद अधिनियम के तहत 12 मामले दर्ज हैं। वहीं हरेंद्र की गिरफ्तारी के बाद इसके परिवार के सदस्य भूमिगत हो गए हैं।
स्प्रिट के टैंकर बरामद होने के बाद आया चर्चा में
कुचायकोट प्रखंड के विशम्भरपुर थाना क्षेत्र के रमजीता मटिहिनिया गांव से कुछ ही दूरी से उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले की सीमा शुरू हो जाती है। गंडक के दियारा का यह इलाका सालों से कच्ची शराब के धंधे को लेकर चर्चित रहा है। रमजीता मटिहिनिया गांव निवासी हुमेल यादव का पुत्र हरेंद्र यादव चार साल पूर्व तब चर्चा में आया, जब पुलिस ने इसके घर के पास से स्प्रिट का टैंकर बरामद किया था। तब यह बात सामने आई थी कि कच्ची दारू बनाने के लिए यह स्प्रिट की सप्लाई करता है।
शराबबंदी के बाद यूपी को बनाया ठिकाना
इसी बीच बिहार में शराब बंदी लागू हो गई। शराब बंदी लागू होने के बाद हरेंद्र यादव ने सीमावर्ती उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले के दियारा इलाके को अपना ठिकाना बना लिया। शराब बंदी लागू होने के बाद से इसके खिलाफ जिले में कोई प्राथमिकी दर्ज नहीं हुई। छह माह पूर्व कुशीनगर पुलिस ने दियारा इलाके अहिरौलीदान में कच्ची शराब के खिलाफ अभियान चलाया था। तब भारी मात्रा में कच्ची शराब बरामद हुई थी। इस मामले में भी हरेंद्र यादव का नाम सामने आया था। लेकिन इसके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज नहीं हुई। इस छापेमारी के कुछ दिन बाद दियारा इलाके में कच्ची शराब बनाने का कारोबार फिर से शुरू हो गया।
पुलिस खंगाल रही कुंडली
इसी बीच कुशीनगर में जहरीली शराब से दर्जन भर से अधिक लोगों की हुई मौत के बाद हरेंद्र यादव के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई। गुरुवार की सुबह यूपी एसटीएफ ने हरेंद्र यादव को राजस्थान के भिलवाड़ा से हरेंद्र यादव को गिरफ्तार कर लिया। राजस्थान में इस स्प्रिट कारोबारी के गिरफ्तार होने के बाद अब जिला पुलिस इसकी कुंडली खंगाल रही है।
ये हैं दर्ज मामले
कुशीनगर जिले के तरेया सुजान थाना पुलिस के अनुसार गिरफ्तार किए गए हरेंद्र यादव पर तरेया सुजान थाना के साथ ही जिले के विशंम्भरपुर तथा कुचायकोट थाना में कुल 12 मामले दर्ज हैं। इसमें जिले के थाना विश्वभरपुर थाना में 3/2000 की धारा-395, 397 आईपीसी, 13/2008 की धारा -395 आईपीसी, 28/2013 की धारा 272 ,414 आईपीसी और 47 (4) उत्पाद अधिनियम, 60/11 की धारा -207/27 आर्म्स एक्ट, 103/14 की धारा- 307 /27 आर्म्स एक्ट तथा कुचायकोट थाने में 250/13 की धारा -272, 273 आईपीसी व 47 (4) उत्पाद अधिनियम , 06/2009 की धारा-47 ए उत्पाद अधिनियम के साथ ही 03/12 की धारा -47 ए उत्पाद अधिनियम, नगर थाना में 0347/16 की धारा-419, 420, 272 आईपीसी व 60 आबकारी अधिनियम व 67/2019 की धारा -272 के तहत प्राथमिकी दर्ज है। यूपी शराब कांड के बाद इसके खिलाफ 304 आईपीसी (परिवर्तित धारा-272 आईपीसी व 60 क) एक्साइज एक्ट के तहत तरेयासुजान थाना में प्राथमिकी दर्ज की गई है।
1999 में जुड़ा राजद से
हरेंद्र यादव साल 1999 में राजद से जुड़ा है। इसकी पत्नी बाचो देवी सलेहपुर पंचायत से बीडीसी सदस्य हैं। यह अपनी पत्नी को कुचायकोट प्रखंड का प्रखंड प्रमुख बनाने का प्रयास कर रहा था। तीन महीने पहले इसने प्रखंड प्रमुख बबली सिंह के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने की तैयारी कर लिया था। लेकिन तक कुछ लोगों के बीच में पड़ने से प्रमुख के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने को फरवरी तक टाल दिया गया। हालांकि राजद जिलाध्यक्ष रेयाजुल हक ने हरेंद्र यादव को राजद से किसी प्रकार का कोई संबंध होने से इन्कार किया है। उन्होंने कहा कि राजनीतिक साजिश के तहत हरेंद्र यादव का नाम राजद से जोड़ा जा रहा है। वह राजद का कभी कार्यकर्ता नहीं रहा है।
यूपी के गाजीपुर का मूल निवासी है आरोपित परिवार
हरेंद्र यादव का परिवार उत्तर प्रदेश के गाजीपुर जिले का मूल निवासी है। बताया जाता है कि हरेंद्र यादव के पिता पहलवान हुमेल यादव गाजीपुर से आकर रमजीता मटिहनिया गांव में बस गए थे। इसी बीच हरेंद्र यादव स्प्रिट के अवैध करोबार से जुड़ गया। इस अवैध कमाई से इसका रुतबा भी अपने गांव तथा आसपास के गांवों में काफी बढ़ गया था। अपने रुतबे के दम पर ही इसने अपनी पत्नी बाचो देवी को बीडीसी सदस्य का चुनाव लड़ाया। इस चुनाव में इसकी पत्नी को जीत मिली। बताया जाता है कि आरोपित हरेंद्र यादव का भाई धर्मेंद्र यादव व नागेंद्र यादव होमगार्ड के जवान हैं। तीसरा भाई अनिल यादव बिहार पुलिस का जवान है तथा वह जहानाबाद में तैनात है।